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व्यंग्यः इश्क ने ग़ालिब निकम्मा कर दिया, वर्ना आदमी हम भी थे काम के

मियाँ ग़ालिब बता गये हैं कि इश्क ने ग़ालिब निकम्मा कर दिया वर्ना आदमी हम भी काम के थे। बिलकुल सही बताए हैं। अब हमाई आज की झक्क ही ले लीजिए। मोहब्बत की चाशनी में अंदर तक डूबे बारहवीं में पढ़ने वाले एक नौजवान ने अपनी ही किडनैपिंग कर डाली। औ बाकायदा अपने निजी बाप […]

मियाँ ग़ालिब बता गये हैं कि इश्क ने ग़ालिब निकम्मा कर दिया वर्ना आदमी हम भी काम के थे। बिलकुल सही बताए हैं। अब हमाई आज की झक्क ही ले लीजिए। मोहब्बत की चाशनी में अंदर तक डूबे बारहवीं में पढ़ने वाले एक नौजवान ने अपनी ही किडनैपिंग कर डाली। औ बाकायदा अपने निजी बाप से ही फिरौती भी मांग डाली। 

हाँ तो आज चलिये एमपी के भिंड। तो हुआ यूं कि इस बालक को गुड़गांव में रहने वाली एक बालिका से मोहब्बत हो गई। दूरी ज्यादा थी सो फ़ोन से ही इश्क खूब परवान चढ़ा। लेकिन जवानी तो भैया रह रह के चरमरा रही थी।

बस प्रेमी महोदय एकदम खतरनाक वाला प्लान बना डाले। एक दिन इनके पिताजी का फ़ोन घनघनाया । फोन उठाये तो पिताजी पसीना पसीना हो गए। असल में उनके सुपुत्र किडनैप हो लिए थे। फिरौती के लिए किडनैपर ने बाकायदा ढाई लाख रूपये भी माँगे। न देने पर बेचारे लड़के को जान से मारने की धमकी भी दी। 

पिताजी बेचारे दौड़े दौड़े डायरेक्ट पहुँच गये थाने। पूरी बात बताए। अब पुलिस तो ठहरी पुलिस। किडनैपर को तो ढूँढा नहीं लड़के को ही उठा लिया। सच्चाई पता चली तो पिताजी सिर पीट लिए । असल में इनके लड़के का किडनैपर कोई और नहीं बल्कि खुद उनका ही लड़का था । बेचारे का प्रेमरोग सीरियस स्टेज में पहुँच गया था तो इलाज कराने अपनी गर्लफ़्रेंड के पास गुड़गांव जाना चाहता था। 

अब इतनी दूर जाने के लिए पईसा भी तो चाहिए। औ फिर गर्लफ्रेंड को खुश भी तो करना पड़ेगा। तो बस साहबजादे फ़ोन पे आवाज बदलने वाला एक चउकस एप इंस्टाल कर लिए। फिर अपने ही पप्पा को किडनैपिंग का फ़ोन मिला दिए। पापा भी सही समझ लिए।

बाकि भइया ये तो पक्का है कि लड़का आगे चल के बाप का नाम जरूर रोशन करेगा। तो हमाई आज की झक्क यहीं हुई समाप्त।

झक्क पसन्द आयी हो तो फौरन शेयर कर दें। चलते हैं…

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