उत्तर प्रदेश

2022 तक उत्तर प्रदेश बनेगा सोलर एनर्जी का सबसे बड़ा हब

लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार उत्तर प्रदेश को सोलर एनर्जी का सबसे बड़ा हब बनाने जा रही है। नयी सौर ऊर्जा नीति के तहत सरकार ने 1535 मेगावाट के 7500 करोड़ रुपये के प्रस्ताव को स्वीकार किया हैं। इसको साल 2022 तक पूरा करने का लक्ष्य लिया है। आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को बताया कि सरकार ने […]

लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार उत्तर प्रदेश को सोलर एनर्जी का सबसे बड़ा हब बनाने जा रही है। नयी सौर ऊर्जा नीति के तहत सरकार ने 1535 मेगावाट के 7500 करोड़ रुपये के प्रस्ताव को स्वीकार किया हैं। इसको साल 2022 तक पूरा करने का लक्ष्य लिया है। आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को बताया कि सरकार ने सौर ऊर्जा के उत्पादन की दिशा में भी तेजी से कदम आगे बढ़ाये हैं। प्रदेश में 420 मेगावाट क्षमता की 24 सौर पावर परियोजनाएं शुरु हो चुकी हैं। जिसके बाद सौर ऊर्जा उत्पादन बढ़कर 1140 मेगावाट हो गया है। सरकार के प्रयास से प्रदेश में 225 मेगावाट क्षमता के सोलर रूफटॉप स्थापित हो चुके हैं।

उन्होंने बताया कि सीएम योगी के प्रयासों से अब गांवों में बाजारों और सड़कें सोलर स्ट्रीट लाईटों से जगमगाने लगी हैं। पंडित दीनदयाल उपाध्याय सोलर स्ट्रीट लाइट योजना की मदद से 25569 बाजारों में सोलर स्ट्रीट लाइटें लगाई जा चुकी है। इसके अलावा मुख्यमंत्री समग्र ग्राम्य विकास योजना में चयनित राजस्व ग्रामों में 13791 सोलर स्ट्रीट लाइट संयंत्रों को लगाने का काम किया गया है।

किसानों को लाभ देने के लिये सिंचाई में उपयोगी 19579 सोलर पम्प लगाए हैं। गांव में घर-घर तक 01 लाख 80 हजार सोलर पावर संयंत्रों की स्थापना ने गांव की तस्वीर बदल दी है। पहली बार प्रदेश में 3400 सोलर आरओ वाटर संयंत्रों की स्थापना प्राथमिक विद्यालयों में करवाई गई जिससे स्कूली बच्चों को शुद्ध पानी विद्यालय में ही उपलब्ध हुआ।

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लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार उत्तर प्रदेश को सोलर एनर्जी का सबसे बड़ा हब बनाने जा रही है। नयी सौर ऊर्जा नीति के तहत सरकार ने 1535 मेगावाट के 7500 करोड़ रुपये के प्रस्ताव को स्वीकार किया हैं। इसको साल 2022 तक पूरा करने का लक्ष्य लिया है। आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को बताया कि सरकार ने […]

लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार उत्तर प्रदेश को सोलर एनर्जी का सबसे बड़ा हब बनाने जा रही है। नयी सौर ऊर्जा नीति के तहत सरकार ने 1535 मेगावाट के 7500 करोड़ रुपये के प्रस्ताव को स्वीकार किया हैं। इसको साल 2022 तक पूरा करने का लक्ष्य लिया है। आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को बताया कि सरकार ने सौर ऊर्जा के उत्पादन की दिशा में भी तेजी से कदम आगे बढ़ाये हैं। प्रदेश में 420 मेगावाट क्षमता की 24 सौर पावर परियोजनाएं शुरु हो चुकी हैं। जिसके बाद सौर ऊर्जा उत्पादन बढ़कर 1140 मेगावाट हो गया है। सरकार के प्रयास से प्रदेश में 225 मेगावाट क्षमता के सोलर रूफटॉप स्थापित हो चुके हैं।

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