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Breaking: मध्यप्रदेश के शहडोल में ऑक्सीजन की कमी से 12 कोरोना रोगियों की दर्दनाक मौत

नई दिल्लीः कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश में हलचल मचा दी है। इस बीच कई राज्यों में ऑक्सीजन की कमी उत्पन्न हुई है। देश भर के अस्पतालों में बेड, वेंटिलेटर, कोरोना के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवा रेमडेसिविर और ऑक्सीजन की भारी किल्लत चल रही है, जिसके चलते मरने वालों की संख्या […]

नई दिल्लीः कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश में हलचल मचा दी है। इस बीच कई राज्यों में ऑक्सीजन की कमी उत्पन्न हुई है। देश भर के अस्पतालों में बेड, वेंटिलेटर, कोरोना के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवा रेमडेसिविर और ऑक्सीजन की भारी किल्लत चल रही है, जिसके चलते मरने वालों की संख्या में लगातार बढ़ती जा रही है। मध्यप्रदेश के शहडोल मेडिकल कॉलेज में भी ऑक्सीजन की कमी पैदा हो गई है। देर रात ऑक्सीजन टैंक में ऑक्सीजन की कमी से 12 मरीजों की दर्दनाक मौत हो गई। 

मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ मिलिंद शिरलकर ने भी पुष्टि की कि ऑक्सीजन की कमी के कारण 12 लोगों की मौत हो गई थी। उन्होंने कहा कि अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी के कारण वर्तमान में केवल गंभीर रूप से बीमार रोगियों को ऑक्सीजन दी जा रही है।

पहले भी हुआ था ऐसा 
इससे पहले 15 अप्रैल को जबलपुर में ऑक्सीजन की कमी से पांच मरीजों की मौत हो गई थी। ये सभी वेंटिलेटर पर थे। स्वास्थ्य मंत्रालय की वेबसाइट के अनुसार, मध्य प्रदेश में कोरोना के सक्रिय मामलों की कुल संख्या 59,183 है। जबकि 3,20,955 लोगों ने कोरोना को हराया है। राज्य में कोरोना से कुल 4425 लोगों की मौत हुई है।

क्या है देश में कोरोना की स्थिति 
स्वास्थ्य मंत्रालय के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, पिछले 24 घंटों में 2,61,500 नए कोरोना मामले सामने आए हैं और 1501 लोगों की मौत हुई है। जो अब तक का सबसे ज्यादा आंकड़ा है। हालांकि, 24 घंटे में 1,38,423 लोगों ने रिकवरी की है।

देश में 16 जनवरी से टीकाकरण अभियान शुरू किया गया था। कोरोना रोगियों की संख्या के मामले में भारत दुनिया का सबसे अधिक प्रभावित देश है। अब तक 12 करोड़ 26 लाख 22 हजार 590 खुराक दी जा चुकी है।

कोरोना की संख्या में वृद्धि चिंताजनक है। महाराष्ट्र के बाद, राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और उत्तर प्रदेश में अब कोरोना के मामले दर्ज किए जा रहे हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत में कोविद -19 के दैनिक मामलों के 82 प्रतिशत से अधिक 10 राज्यों से हैं। इनमें महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़, दिल्ली, मध्य प्रदेश, कर्नाटक, केरल, तमिलनाडु, गुजरात और राजस्थान शामिल हैं।

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