Nagaland Mon massacre: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार और रक्षा मंत्रालय को 2021 के नागालैंड मोन नरसंहार पर भारत के सर्वोच्च न्यायालय से एक अधिसूचना मिली है, जिसमें एक अक्षम भारतीय सेना के अभियान में 13 नागरिक मारे गए थे। केंद्र के अनुसार, संदिग्ध 30 भारतीय सेना के कर्मियों पर आरोप नहीं लगाए जाएंगे।
शब्द “2021 मोन हत्याएं” नागालैंड में हुई एक दुखद घटना का वर्णन करता है, जहां राज्य में विद्रोहियों पर घात लगाने के इरादे से किए गए एक सैन्य अभियान के परिणामस्वरूप तेरह नागरिक मारे गए।
नागालैंड सरकार की आपत्तियों पर सुप्रीम कोर्ट के एक पैनल ने गौर किया जिसमें भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और मनोज मिश्रा शामिल थे। पीठ ने केंद्रीय रक्षा मंत्रालय और केंद्र को पत्र भी भेजे।
अब पीठ ने नागालैंड की याचिका पर 3 सितंबर को सुनवाई तय की है।