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उड़ती रहेगी ‘पतंग‘, दिल्ली HC ने खारिज की अर्जी

दिल्ली हाईकोर्ट में दायर अर्जी में मांग उठी कि दिल्ली में पतंग बेचने, उड़ाने पर पाबंदी हो, लेकिन इसको हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया। कोर्ट ने कहा कि पतंग उड़ाना सांस्कृतिक गतिविधि का मामला है। कोर्ट ने कहा कि प्रशासन चाइनीज मांझे पर रोक लगाए।

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने राजधानी में पतंग उड़ाने पर बैन लगाने की अर्जी को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने पतंग उड़ाने पर बैन लगाने की मांग को खारिज करते हुए कहा कि यह एक सांस्कृतिक गतिविधि है।

हालांकि, कोर्ट ने दिल्ली सरकार और पुलिस प्रशासन को कुछ जरूरी निर्देश भी दिए हैं। कहा गया कि वे नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल यानि NGT द्वारा चाइनीज मांझा बैन करने का जो फैसला है उसको सख्ती से लागू करवाएं।

दिल्ली हाईकोर्ट में चीफ जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा और जस्टिस सुब्रमोनियम प्रसाद पतंग पर बैन लगाने की अर्जी पर सुनवाई कर रहे थे। जजों ने पाया कि NGT ने दिल्ली में पहले ही चाइनीज सिंथेटिक मांझे पर बैन लगाया हुआ है। दिल्ली पुलिस भी इसके संबंध में नोटिफिकेशन जारी करती रहती है और नियम तोड़ने वालों पर एक्शन भी होता है।

बता दें कि दिल्ली हाईकोर्ट में PIL डालकर पतंग पर रोक की मांग हुई थी। इसमें पतंग उड़ाने, बेचने, खरीदने, जमा करने सबपर प्रतिबंध की मांग की गई थी। PIL में कहा गया था कि कांच युक्त मांझे की वजह से कई लोगों और पक्षियों की जान जा रही है।

कोर्ट को बताया गया था कि खासकर अगस्त महीने में बड़े पैमाने पर उड़ाई जाने वाली पतंग की डोर से आए दिन लोग जख्मी होते रहते हैं। बड़ी तादाद में पशु पक्षी भी नायलॉन से बनी इन चाइनीज मांझे वाली कातिल डोर के शिकार होते हैं।