छत्तीसगढ़

सकारात्मक सोच के साथ चिकित्सकों द्वारा बताए जा रहे बचाव के उपायों का गंभीरता से करें पालन

रायपुर: कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बाद सकारात्मक सोच, कोविड के नियमों का पालन और चिकित्सकों द्वारा लगातार दिए जा रहे सलाह का सही तरीके से अनुसरण करते हुए कोरोना से जंग जीता जा सकता है। ऐसे ही कोरोना से जंग जीते धमतरी जिले के श्री विष्णु पटेल, श्री अरूण कुमार साहू और श्री […]

रायपुर: कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बाद सकारात्मक सोच, कोविड के नियमों का पालन और चिकित्सकों द्वारा लगातार दिए जा रहे सलाह का सही तरीके से अनुसरण करते हुए कोरोना से जंग जीता जा सकता है। ऐसे ही कोरोना से जंग जीते धमतरी जिले के श्री विष्णु पटेल, श्री अरूण कुमार साहू और श्री दुबेश्वर बिसेन ने लोगों से अपना विचार साझा किया है। धमतरी के हटकेशर वार्ड निवासी 65 वर्षीय श्री विष्णु पटेल ने कहा कि बुखार, खांसी-सर्दी होने पर उन्होंने कोविड जांच कराई। रिपोर्ट में कोविड पाॅजीटिव आने के बाद 15 अप्रैल को वे जिला अस्पताल स्थित कोविड सेंटर में भर्ती हुए, जहां से ठीक होकर वे आठ दिनों बाद 23 अप्रैल को घर लौटे। उनका कहना है अब वे बेहतर महसूस कर रहे हैं , मगर थोड़ी कमजोरी अभी भी है जो समय के साथ संतुलित खानपान , रहन सहन और कोविड के नियमों का पालन करते रहने से ज़रूर दूर हो जाएगी। कुरूद के ग्राम कोंडापार के 40 वर्षीय श्री अरूण कुमार साहू ने बताया कि बीमार पड़ने के बाद वे काफी घबराए हुए थे। किन्तु चिकित्सक और स्वास्थ्य कर्मियों के सहयोगात्मक रवैया, कोविड के नियमों का कड़ाई से पालन और सकारात्मक सोच की वजह से आज वे सही-सलामत घर पर हैं। 

इसी तरह नगरी के ग्राम भैंसासांकरा के श्री दुबेश्वर बिसेन ने बताया कि उन्होंने कोरोना जांच कराई,  रिपोर्ट पाॅजीटिव आने के बाद वे छः दिनों तक होम आइसोलेशन में रहकर स्वास्थ्य लाभ ले रहे थे। किन्तु सातवें दिन उन्हें दस्त की शिकायत होने पर तत्काल कोविड अस्पताल नगरी में भर्ती हुए। वहां सात दिन तक इलाज कराने के बाद स्वस्थ होकर घर लौटे। उन्होंने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए सभी को समझाइश दी है कि कोरोना से डरे नहीं, बल्कि सकारात्मक सोच और चिकित्सकों द्वारा बताए जा रहे बचाव के उपाय को गंभीरता से आत्मसात करें। निश्चित ही कोरोना से जंग जीता जा सकता है। उन्होंने यह भी कहा कि लोगों में सोशल मीडिया और कुछ नकारात्मक विचार के कारण डर का माहौल बन रहा है।इसके लिए जरूरी है कि  हमें अपने आपको सकारात्मक  रखते हुए उपचार कराना है। ध्यान देने वाली बात यह है कि बीमारी से ठीक होने के बाद भी मास्क का सही तरीके से इस्तेमाल, सामाजिक दूरी के नियमों के साथ साफ सफाई का ध्यान रखना भी ज़रूरी है।

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