खूंटी (झारखंड): खूंटी जिला के हुटार गांव में झारखंड ट्राईबल डेवलपमेंट सोसाइटी के सौजन्य से ए पी पी एग्रीगेट के फार्म हाउस में झारखंड के जामताड़ा और लोहरदगा जिले के 80 प्रतिभागियों को मशरूम उत्पादित क्षेत्रों का भ्रमण कराया गया । भ्रमण के दौरान कम लागत से निर्मित ग़ीन हाउस में मशरूम उत्पादन आकर्षण का केंद्र रहा । परिभ्रमण और प्रदर्शनी के दौरान मशरूम फसल लगाने के तरीकों को विस्तार से बताया गया। लाभार्थी मशरूम कृषकों को मशरूम के रखरखाव की विधियों की जानकारी दी गई । इसके साथ ही मशरूम के फल तोड़ने की विधि को विस्तार से बताया गया । प्रदर्शनी के दौरान वायस्टर और बटन मशरूम के रखरखाव टांगने और रखने की विधि को दिखाया और बताया गया।
मशरूम उत्पादित बड़ी पापड़ अचार बिस्कुट सूप मिक्चर आदि को देखकर लाभक प्रभावित हुए
इस दौरान कुट्टी फुलाने के नवनिर्मित नाद देखकर मशरूम उत्पादक बेहद प्रभावित हुए । इस अवसर पर एपीपी एग्रीगेट के निदेशक प्रभाकर कुमार ने बताया कि मशरूम उत्पादकों के लिए सबसे बड़ी समस्या बाजारीकरण का है जो हमारे फर्म द्वारा उत्पादित मशरूम फल प्राप्त कर उससे मशरूम उत्पाद तैयार कर बड़े-बड़े बाजारों में आपूर्ति की जाएगी । दूसरी बड़ी समस्या आदिवासी क्षेत्रों में कमरा और जगह का अभाव रहता है जिसे कम लागत के ग्रीन हाउस द्वारा पूरा किया जा सकता है । उन्होंने कहा कि अगर लगन के साथ लाभुक मशरूम उत्पादन करते हैं तो प्रत्येक माह 5000 से 50,000 की आमदनी बना सकते हैं ।
जामताड़ा जिला जेटीडीएस के जिला परियोजना प्रबंधक सच्चिदानंद ने कहा कि इस तरह का एक्सपोजर काबिले तारीफ है, जिसके माध्यम से मशरूम उत्पादक महिलाएं आत्मनिर्भर बन सकती है।
लोहरदगा जिला जेटीडीएस के जिला परियोजना प्रबंधक कृष्णा राम मांझी ने कहा कि ग्रीन हाउस एक्सपोजर के आकर्षण का केंद्र है जिसके माध्यम से बड़े पैमाने पर मशरूम उत्पादन को बढ़ावा मिल सकती है।
इस अवसर पर एपीपी एग्रीगेट के राज्य प्रमुख अनमोल कुमार प्रशिक्षिका पूनम सांगा, गुड्डी देवी जिला समन्वयक प्रीति कुमारी जेटीडीएस लोहरदगा की नेहा कुमारी सहित कई लोगों ने मशरूम परिक्षेत्र के परिभ्रमण और प्रदर्शनी में अपनी अहम भागीदारी निभाई।