राष्ट्रीय

चुनावी रेवड़ियों के खिलाफ जनहित याचिका पर AAP का विरोध

आम आदमी पार्टी (AAP) ने ‘चुनावी रेवड़ियों’ के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में दायर जनहित याचिका का विरोध किया है। शीर्ष अदालत से लंबित याचिका में हस्तक्षेप करने का अनुरोध करते हुए दिल्ली और पंजाब में सत्तारूढ़ पार्टी ने कहा है कि पात्र एवं वंचित लोगों के सामाजिक-आर्थिक कल्याण के लिए योजनाओं को ‘चुनावी रेवड़ियां’ नहीं माना जा सकता।

नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) ने ‘चुनावी रेवड़ियों’ (Chunavi Rewari) के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में दायर जनहित याचिका का विरोध किया है। शीर्ष अदालत से लंबित याचिका में हस्तक्षेप करने का अनुरोध करते हुए दिल्ली और पंजाब में सत्तारूढ़ पार्टी ने कहा है कि पात्र एवं वंचित लोगों के सामाजिक-आर्थिक कल्याण के लिए योजनाओं को ‘चुनावी रेवड़ियां’ नहीं माना जा सकता।

दरअसल, वकील अश्विनी उपाध्याय ने यह जनहित याचिका दायर की है। उन्होंने चुनाव के दौरान मतदाताओं को लुभाने के लिए उन्हें मुफ्त उपहार देने का वादा करने वाले राजनीतिक दलों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।

याचिका का विरोध करते हुए आप ने कहा है कि याचिकाकर्ता के सत्तारूढ़ भाजपा से मजबूत संबंध हैं। वह एक विशेष राजनीतिक एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए जनहित याचिका माध्यम का उपयोग करने का प्रयास कर रहे हैं।

गौरतलब है कि, शीर्ष अदालत ने तीन अगस्त को केंद्र, नीति आयोग, वित्त आयोग और आरबीआई जैसे हितधारकों से चुनावों के दौरान मुफ्त उपहारें के गंभीर मुद्दे पर विचार करने और इससे निपटने के लिए रचनात्मक सुझाव देने के लिए कहा था।