बीजापुर: जिले में मलेरिया मुक्त बस्तर अभियान का चौथा चरण पूर्ण हो गया है। इस बार स्वास्थ्य विभाग की मलेरिया जांच दलों ने 2 लाख 21 हजार 710 व्यक्तियों की जांच की। जिसमें 1506 लोग ही मलेरिया पॉजीटिव्ह पाये गये। जिले में मलेरिया मुक्त बस्तर अभियान से वार्षिक परजीवी सूचकांक दर 54.52 प्रतिशत से सीधे 10.21 प्रतिशत हो गयी है। मलेरिया मुक्त बस्तर अभियान की शुरुआत के बाद जिले में हरेक चरणों के दौरान स्वास्थ्य विभाग की टीम ने पूरी तरह समर्पित होकर काम किया। मलेरिया जांच दलों को बारिश के कारण नदी-नाले पार करने सहित पहुँच विहीन ईलाकों में कई किलोमीटर पैदल चलकर जाना पड़ा। इन सभी चुनौतियों के बीच स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मलेरिया जांच जारी रखा और काम पूरा किया।
यही वजह है कि मलेरिया उन्मूलन अभियान में आशातीत सफलता हासिल हुई है। जिले में मलेरिया मुक्त बस्तर अभियान के प्रथम चरण में 2 लाख 87 हजार 699 लोगों की जांच की गयी, जिसमें पॉजीटिव्ह पाये गये सभी 15 हजार 684 व्यक्तियों का उपचार किया गया। इस दौरान वार्षिक परजीवी सूचकांक दर 54.52 प्रतिशत थी। द्वितीय चरण में 2 लाख 71 हजार 368 लोगों का मलेरिया जांच किया गया और पाजीटिव्ह पाये गये कुल 3 हजार 766 मरीजों का ईलाज किया गया। द्वितीय चरण में एपीआई दर 43 प्रतिशत थी। मलेरिया मुक्त बस्तर अभियान के तीसरे चरण में जिले के अंतर्गत एक लाख 95 हजार 603 व्यक्तियों की जांच में 4 हजार 902 पॉजीटिव्ह पाये गये मरीजों का उपचार किया गया। तृतीय चरण में वार्षिक परजीवी सूचकांक 25.06 प्रतिशत थी। कलेक्टर श्री रितेश कुमार अग्रवाल बताते हैं कि जिले में मलेरिया मुक्त बस्तर अभियान के चतुर्थ चरण को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने पूरा कर लिया है। जिसमें मलेरिया पॉजीटिव्ह मरीज पहले चरणों की अपेक्षा कम मिले हैं। अब एपीआई दर भी 10.21 प्रतिशत रह गयी है।
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