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RBI मौद्रिक समीक्षाः सस्ती EMI का इंतजार बढ़ा, रेपो रेट में जस का तस

नई दिल्लीः भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक समीक्षा की बैठक हो चुकी है। आरबीआई के गवर्नर शक्तिकांत दास ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर संवाददाताओं को समिति द्वारा लिए गए फैसलों से अवगत करा दिया है। कोरोना वायरस महामारी के चलते देश की अर्थव्यवस्था की गति धीमी हुई है। ऐसे में भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा लिए […]

नई दिल्लीः भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक समीक्षा की बैठक हो चुकी है। आरबीआई के गवर्नर शक्तिकांत दास ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर संवाददाताओं को समिति द्वारा लिए गए फैसलों से अवगत करा दिया है। कोरोना वायरस महामारी के चलते देश की अर्थव्यवस्था की गति धीमी हुई है। ऐसे में भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा लिए गए निर्णय अहम हैं। आम बजट 2021-22 पेश होने के बाद यह एमपीसी की पहली समीक्षा बैठक थी। गौरतलब है कि पिछली 3 मौद्रिक समीक्षा बैठकों में एमपीसी ने ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। रिजर्व बैंक ने आखिरी बार 22 मई 2020 में नीतिगत दरों संशोधन किया था, जिसके बाद लोन लेने वालों को कुछ राहत मिली थी। इस बैठक से पहले भी उम्मीद की जा रही थी कि रेपो रेट में कुछ कटौती की जाएगी। लेकिन, ऐसा नहीं हुआ, जिसकी वजह से होम लोन लेने वाले ग्राहकों को निराशा हुई है।

भारतीय रिजर्व बैंक ने शुक्रवार को सरकार के रिकॉर्ड उधार के प्रबंधन के लिए पर्याप्त तरलता सुनिश्चित करके अर्थव्यवस्था में सुधार के लिए समर्थन बनाए रखने का आश्वासन देते हुए ब्याज दरों पर रोक लगा दी। छह सदस्यीय मौद्रिक नीति समिति ने जब तक विकास को पुनर्जीवित करना और अर्थव्यवस्था पर कोविड-19 के प्रभाव को कम करना आवश्यक है, यह सुनिश्चित करते हुए कि मुद्रास्फीति के लक्ष्य के भीतर बनी हुई है, तब तक जारी रहने के लिए अपनी सहमति प्रदान की। 

भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर ने कहा कि आरबीआई ने रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया है। यह चार फीसदी पर बरकरार है। एमपीसी ने सर्वसम्मति से यह फैसला लिया है। यानी ग्राहकों को ईएमआई या लोन की ब्याज दरों पर नई राहत नहीं मिली है। दास ने आगे कहा कि रिवर्स रेपो रेट को भी 3.35 फीसदी पर स्थिर रखा गया है। इसके साथ ही बैंक रेट में भी कोई बदलाव नहीं करने का फैसला लिया गया है। यह 4.25 फीसदी पर है।

(एजेंसियों के इनपुट्स के साथ)

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